बोल भक्त बोल तन्नै क्युकर याद करया

बोल भक्त बोल,
तन्नै क्युकर याद करया,
मेंहदीपुर ने छोड़,
तेरे दरबार मैं खड़या।।



कुणसा रोग तन्नै कटवाणा,

किस बैरी का सिर फुड़वाणा,
लाल लंगोटा मेरा वार क,
ज्योत प धरया,
मेंहदीपुर ने छोड़,
तेरे दरबार मैं खड़या।।



दो लाड्डू तन्नै धरे वार कं,

सारा संकट लेज्यां तार कं,
तेरी भक्ति ने देख देख कं,
मेरे जोश सा भरया,
मेंहदीपुर ने छोड़,
तेरे दरबार मैं खड़या।।



तन्नै बुलाया आणा पड़गया,

भक्त का प्रेम निभाणा पड़गया,
किसे बात तं मत डर बेटा,
रखवाला सुं तेरा,
मेंहदीपुर ने छोड़,
तेरे दरबार मैं खड़या।।



अशोक भक्त तेरी भक्ति देखी,

याद करण की उक्ति देखी,
मुकेश शर्मा उरलाणिए तेरा,
रहगा बाग हरया,
मेंहदीपुर ने छोड़,
तेरे दरबार मैं खड़या।।



बोल भक्त बोल,

तन्नै क्युकर याद करया,
मेंहदीपुर ने छोड़,
तेरे दरबार मैं खड़या।।

प्रेषक – राकेश कुमार जी।
खरक जाटान(रोहतक)
9992976579


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Shekhar Mourya
Bhajan Lover / Singer / Writer / Web Designer & Blogger.

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