खाटू का श्याम निराला,
भक्ता ने लागे प्यारा,
तेरे सोने रो सिगासन,
देदे मोर छडी का झाडा,
ओ बाबा पल पल पल पल,
याद तेरी तडफाव सै हाय,
थारे भक्ता ने तु,
खाटू क्यों न बुलावे से।।
तर्ज – तेरी आंख्या को यो काजल।
भक्ता के आगे बाबा,
निसान तेरा लहरावे,
कोई पेट पलनिया जावे,
कोई भजन सुहाना गावे,
देखी तेरी सकलाई,
तेरी दुनिया करे बडाई,
तेरे द्वारे जो भी आया,
उस की किस्मत चमकाई,
ओ बाबा पल पल पल पल,
याद तेरी तडफाव सै हाय,
थारे भक्ता ने तु,
खाटू क्यों न बुलावे से।।
थे अहिलवती का जाया,
थारी बात निराली सै,
ओ शिश के दानी बाबा,
तेरी लीला न्यारी सै,
थारे पैदल चल कर आवे,
तू सबकी बिगड़ी बनाव,
दुनिया तेरा गुण गावे,
भक्ता रा कष्ट मिटावे,
ओ बाबा पल पल पल पल,
याद तेरी तडफाव सै हाय,
थारे भक्ता ने तु,
खाटू क्यों न बुलावे से।।
बाहरो महिना से बाबा,
मैं बाट उडीका थारी,
ग्यारस को मेलो आव,
भक्ता की भीड निराली,
थारो ‘कानो’ भजन बणावे,
चरणा मे शीश नवावे,
बाबो बेडो पार लगावे,
तेरा ‘रामकरण’ गुण गावे,
ओ बाबा पल पल पल पल,
याद तेरी तडफाव सै हाय,
थारे भक्ता ने तु,
खाटू क्यों न बुलावे से।।
खाटू का श्याम निराला,
भक्ता ने लागे प्यारा,
तेरे सोने रो सिगासन,
देदे मोर छडी का झाडा,
ओ बाबा पल पल पल पल,
याद तेरी तडफाव सै हाय,
थारे भक्ता ने तु,
खाटू क्यों न बुलावे से।।
Writer – k.L.dadhich
Singer – Ramkaran pareek
9694675361