हमारे साथ श्री रघुनाथ तो किस बात की चिंता भजन लिरिक्स

हमारे साथ श्री रघुनाथ,
तो किस बात की चिंता,
शरण में रख दिया जब माथ,
तो किस बात की चिंता
हमारें साथ श्री रघुनाथ,
तो किस बात की चिंता।।



किया करते हो तुम दिन रात,

क्यों बिन बात की चिंता,
तेरे स्वामी को रहती है,
तेरी हर बात की चिंता
हमारें साथ श्री रघुनाथ,
तो किस बात की चिंता।।



ना खाने की ना पीने की,

ना मरने की ना जीने की,
रहे हर स्वास पर भगवान के,
प्रिय नाम की चिंता,
हमारें साथ श्री रघुनाथ,
तो किस बात की चिंता।।



विभिषण को अभय वर दे किया,

लंकेश पल भर में,
उन्ही का कर रहे गुणगान,
तो किस बात की चिंता,
हमारें साथ श्री रघुनाथ,
तो किस बात की चिंता।।



हुई ‘ब्रजेश’ पर किरपा,

हुई भक्त पर किरपा,
बनाया दास प्रभु अपना,
उन्ही के हाथ में अब हाथ,
तो किस बात की चिंता,
हमारें साथ श्री रघुनाथ,
तो किस बात की चिंता।।



हमारे साथ श्री रघुनाथ,

तो किस बात की चिंता,
शरण में रख दिया जब माथ,
तो किस बात की चिंता
हमारें साथ श्री रघुनाथ,
तो किस बात की चिंता।।

स्वर – श्री प्रेमभूषण जी महाराज।
प्रेषक – राधे श्याम जी अरोड़ा।
9219506809


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Shekhar Mourya
Bhajan Lover / Singer / Writer / Web Designer & Blogger.

2 COMMENTS

  1. If anything troubles you then you remember this bhajan and you will be relief immediately. ?

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