राजस्थानी भजन

Rajasthani Bhajan Lyrics

साडू गुजरी सपना में करती देव से बाता देवनारायण भजन

साडू गुजरी सपना में करती देव से बाता देवनारायण भजन

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साडू गुजरी सपना में, करती देव से बाता।। साडू माता चली नगर से, हीरादासी लाल, पत्थर फूटा कमल उपन्या, देव लियो अवतार, साडू गुजरी सपना मे, करती देव से बाता।। मालासर से...
भोमिया जी महाराज कथा हिंदी लिरिक्स

भोमिया जी महाराज कथा हिंदी लिरिक्स

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भोमिया जी महाराज कथा, दोहा - जननी जणे तो एडा जण, के दाता के शूर, नितर रहिजे बांजड़ी, माँ मति गमाजे नूर। जननी जणे तो चार जणे, मत जणजे चालीस, चारों...
धिन सोलंकी सिद्ध राव नखत अवतारी भजन लिरिक्स

धिन सोलंकी सिद्ध राव नखत अवतारी भजन लिरिक्स

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धिन सोलंकी सिद्ध राव, नखत अवतारी, बालूङो तपधारी, थाने भुआ सा गोद खिलावे, नखत अवतारी।। धोरा वालों देश, नखत तपधारी, बालूङो तपधारी, थाने बूआ सा गोद, खिलावे नखत अवतारी।। अलसी सिंहजी रा पोतरा, कानजी रो...
कैलाशपुरी में शंकर जागा नंदीसर के असवारा लिरिक्स

कैलाशपुरी में शंकर जागा नंदीसर के असवारा लिरिक्स

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कैलाशपुरी में शंकर जागा, दोहा - पो फाटी पगड़ो भयो र, जागी जिया जूण, चोंच पराणे देत हैं, सबको दाता चूण। सांझ भये दिन आतवे, चकवी दीनों रोय, चल चकवा उण...
म्हारो नाथ अमली रे म्हारो शंकर अमली भजन लिरिक्स

म्हारो नाथ अमली रे म्हारो शंकर अमली भजन लिरिक्स

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म्हारो नाथ अमली रे, म्हारो शंकर अमली।। दोहा - भष्मी लगावत शंकर, लोचन बीच पड़ी जुर के, ताकी फुफकार शशि को लागी, अमृत बून्द पड़ी धर पे। खाय तुषार बनराय...
शर्म से मरगी रे भोला थारा लांबा लांबा केश लिरिक्स

शर्म से मरगी रे भोला थारा लांबा लांबा केश लिरिक्स

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शर्म से मरगी रे भोला, थारा लांबा लांबा केश, लांबा लांबा केश थारा, लांबा लांबा केश, शरम से मरगी रे भोला, थारा लांबा लांबा केश।। डाढ़ी न कटाऊं थारी, जटा न...
सतगुरु आप अलख अविनाशी देसी भजन लिरिक्स

सतगुरु आप अलख अविनाशी देसी भजन लिरिक्स

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सतगुरु आप अलख अविनाशी, दोहा - बड़े बड़ाई ना करे, बड़े ना बोले बोल, रहीमन हिरा कब कहे, लाख टका मेरो मोल। ऐसी वाणी बोलिए, मन का आपा खोय, औरन को...
धन धन भाग आज सतगुरु आया भजन लिरिक्स

धन धन भाग आज सतगुरु आया भजन लिरिक्स

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धन धन भाग आज, सतगुरु आया। दोहा - पूरब भाग सतगुरु मिला, ज्ञान गंगा बहाय, विजया मुमक्षु जन नहावे, आवरण मल मिटाय। धन धन भाग आज, सतगुरु आया, सतगुरु आया साथे, ज्ञान गंग...
श्री जम्भेश्वर भगवान जागण रो निवतो है लिरिक्स

श्री जम्भेश्वर भगवान जागण रो निवतो है लिरिक्स

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श्री जम्भेश्वर भगवान, जागण रो निवतो है, जी निवतो है, म्हारे चार भुजा रो नाथ, जागण रो निवतो है, जी निवतो है।। ब्रम्हा विष्णु महेश गायत्री, उमा रमा सरस्वती सावत्री, रिध्दी सिध्दी...
सतगुरु अविगत भेद बताया पारख बानी

सतगुरु अविगत भेद बताया पारख बानी

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सतगुरु अविगत भेद बताया, दोहा - नमो नमो गुरु देवजी, नमो नमो सब सन्त, जन दरिया वन्दन करे, नमो नमो भगवत। सतगुरु अविगत भेद बताया, तार न टूटे मेरी कबुहन...
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