ओम जय धन्वंतरि देवा आरती लिरिक्स
ओम जय धन्वंतरि देवा,
स्वामी जय धन्वंतरि देवा,
जरा रोग से पीड़ित,
जन जन सुख देवा,
ॐ जय धन्वंतरि देवा।।
तुम समुद्र से निकले,
अमृत कलश लिए,
देवासुर के संकट,
आकर दूर...
ॐ जय तुलसी माता आरती हिंदी लिरिक्स
ॐ जय तुलसी माता,
मैया जय तुलसी माता,
सब जग की सुख दाता,
तुम ही वर दाता,
ओम जय तुलसी माता।।
सब योगों के ऊपर,
सब रोगों के ऊपर,
रुज से...
नमस्कार देवी जयंती महारानी अर्गला स्त्रोतम लिरिक्स
नमस्कार देवी जयंती महारानी,
श्री मंगला काली दुर्गा भवानी,
कपालनी और भद्रकाली क्षमा माँ,
शिवा धात्री श्री स्वाहा रमा माँ,
नमस्कार चामुंडे जाग तारिणी को,
नमस्कार मधु केटभ संघारिणी...
जय जय जनक सुनन्दिनी हरि वन्दिनी हे आरती लिरिक्स
जय जय जनक सुनन्दिनी, हरि वन्दिनी हे,
दुष्ट निकंदिनि मात, जय जय विष्णु प्रिये।।
सकल मनोरथ दायनी, जग सोहिनी हे,
पशुपति मोहिनी मात, जय जय विष्णु प्रिये।।
विकट...
महिषासुरमर्दिनी स्तोत्रम अयि गिरिनन्दिनि हिंदी लिरिक्स
महिषासुरमर्दिनी स्तोत्रम,
अयि गिरिनन्दिनि नन्दितमेदिनि विश्वविनोदिनि नन्दिनुते,
गिरिवरविन्ध्यशिरोऽधिनिवासिनि विष्णुविलासिनि जिष्णुनुते।
भगवति हे शितिकण्ठकुटुम्बिनि भूरिकुटुम्बिनि भूरिकृते,
जय जय हे महिषासुरमर्दिनि रम्यकपर्दिनि शैलसुते ।।१।।
सुरवर वर्षिणि दुर्धर धर्षिणि दुर्मुख मर्षिणि हर्षरते,
त्रिभुवनपोषिणि...
दादा गुरुदेव की आरती श्री राजेंद्रसुरिवश्वरी जी
दादा गुरुदेव की आरती,
ओम जय जय गुरुदेवा,
दादा जी जय गुरुदेवा,
आरती मंगल मेवा,
आनंद सुख लेवा,
ओम जय जय गुरुदेवा।।
एक व्रत दोय व्रत तीन चार व्रत,
पंच व्रत...
सिया रघुवर जी की आरती शुभ आरती कीजे लिरिक्स
सिया रघुवर जी की आरती,
शुभ आरती कीजे।।
शीश मुकुट काने कुण्डल सोहे ,
राम लखन सिया जानकी,
शुभ आरती कीजे।।
मोर मुकुट माथे पर सोहे,
राधा सहित घनश्याम की,
शुभ...
रिमझिम उतारू थारी आरती रामदेवजी आरती लिरिक्स
रिमझिम उतारू थारी आरती,
दोहा - लीलो घोडो नवलखो,
मोत्या जडी लगाम,
घोडे चढिया रामदेव,
रूनीचा रो श्याम।
ओ बाबा राम रणुजे वाला,
गल बीच मोतीयन की माला,
हाथ लिए हो...
आरती युगलकिशोर की कीजे तन मन भी न्योछावर कीजे
आरती युगलकिशोर की कीजे,
तन मन भी न्योछावर कीजे।।
गौरश्याम मुख निरखन लीजे,
हरि का रूप नयन भरि पीजे,
तन मन भी न्योछावर कीजे।।
रवि शशि कोटि बदन की...
ॐ जय गंगे माता श्री जय गंगे माता आरती लिरिक्स
ॐ जय गंगे माता,
श्री जय गंगे माता,
जो नर तुमको ध्याता,
मन वांछित फल पाता,
ॐ जय गँगे माता।।
चन्द्र सी ज्योत तुम्हारी,
जल निर्मल आता,
शरण पड़े जो तेरी,
सो...