बोले मोरा मनवा बाबोसा भजन लिरिक्स

बोले मोरा मनवा बाबोसा,
सुन बोले मोरा मनवा बाबोसा,
भक्ति की मस्ती ऐसी चढ़ गई,
दिल में बस गई,
दिल में बस गई,
बाबोसा की सुरतिया,
बोले मोरा मनवा।।



बाबोसा नेनो में तुझको बसाऊं,

तुझको निहारूँ तुझमे ही खो जाँऊ,
बताओ अब कैसे नजरे हटाऊँ,
दीवाने, बाबोसा के दीवाने है,
दीवाने, बाबोसा के दीवाने है,
कैसा ये मुझपे जादू चलाया,
नेनो के रस्ते दिल मे समाया,
मुझको अपना दिवाना बनाया,
दीवाने, बाबोसा के दीवाने है।।



मुरतियाँ है बड़ी प्यारी बाबोसा थारी,

दुनिया है दीवानी सारी बाबोसा थारी,
हाथो में घोटा करते तुम लीले असवारी,
मनभावन है रूप तेरा,
लागे है सुहाना,
सारे जग में मचादो ये हल्ला,
संकट टाले है छगनी का लल्ला,
करे कृपा की नजरिया,
आवे है दुवरियाँ,
चमत्कारी देव बाबोसा,
बाबोसा है थारो म्हारो रिस्तो पुराणों रे,
बंधन यो प्रीत को प्यारो थाने निभाणों रे,
चरणों मे है बस थारे अब ठिकाणो रे,
ओ म्हारा बाबोसा,
छोड़ तुझे जाँऊ कहाँ।।



चालो रे चालो चुरुधाम,

सगळा चालो है चालो,
लेके परिवार चुरुधाम,
सगळा चालो है चालो।।

है बाबोसा बाबोसा म्हारा,
बाबोसा बाबोसा म्हारा,
बाबोसा बाबोसा,
बाबोसा है म्हाने मिल गया बाबोसा,
है बाईसा बाईसा म्हारी,
बाईसा बाईसा म्हारी,
बाईसा बाईसा बाईसा,
म्हाने मिल गई बाईसा,
है म्हाने मिल गई बाईसा।।



तेरे दर का .. हो .. हो.. हो,

तेरे दर का तेरे दर का,
कमाल बाबोसा देखके,
ये दुनिया हो गई दीवानी,
दिलबर मेरे में थी अनजानी,
रे हो गई दिवानी नाचूँ,
नाचूँ तेरे दरबार मे,
हो .. हो.. हो.. तेरे दर का।।



हो..ढोल बजने लगा,

गांव सजने लगा,
बाईसा आयेगे,
संग अपने वो खुशियाँ लायेगे,
बाईसा आये मोरे अँगना,
कुम कुम कलश सजाऊँ,
छगनी का आये जब ललना,
मैं मोतियन चोक पुराऊँ।।

आया चूरू से आया,
लीले पे चढ़के आया,
दर्श दिखाने आया हो,
बिगड़ी बनाने आया,
प्यार लुटाने आया,
अपना बनाने आया हो,
म्हारा बाबोसा आया,
म्हारे गाम जी,
श्री बाबोसा म्हारा,
भगवान जी,
आया चूरू से आया।।



बाबोसा के गुणगान,

गाऊँ जी मे तो,
चुरुधाम दर्श को जाऊँ जी,
मे तो बाबोसा के,
कीर्तन गाऊँ जी मे तो,
चुरुधाम दर्श को जाऊँ जी,
तू ही तो मेरा संसार है,
बाबोसा पालनहार है।।

‘दिलबर’ की रचना,
गांऊँ जी में तो,
दिलबर की रचना गांऊँ जी,
तू ही तो मेरा संसार है,
बाबोसा पालनहार है।।



बोले मोरा मनवा बाबोसा,

सुन बोले मोरा मनवा बाबोसा,
भक्ति की मस्ती ऐसी चढ़ गई,
दिल में बस गई,
दिल में बस गई,
बाबोसा की सुरतिया,
बोले मोरा मनवा।।

गायिका – कविता राजवंश मुम्बई।
रचनाकार – दिलीप सिंह सिसोदिया ‘दिलबर’।
नागदा जक्शन म.प्र. 9907023365


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Shekhar Mourya
Bhajan Lover / Singer / Writer / Web Designer & Blogger.

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