बिगड़े हर एक काम को उसने बना लिया श्री श्याम भजन

बिगड़े हर एक काम को,
उसने बना लिया,
जिसने भी मेरे श्याम को,
मन से मना लिया।।

तर्ज – दिल में तू श्याम नाम की।



जिसने भी चाहा श्याम को,

वरदान है मिला,
वरदान है मिला,
आँगन में उसके ही सदा,
खुशियों का गुल खिला,
खुशियों का गुल खिला,
बरसो का था सवाल जो,
बरसो का था सवाल जो,
इक पल में ही पा लिया,
जिसने भी मेरे श्याम को,
मन से मना लिया।।



सांवरिया सेठ श्याम की,

महिमा महान है,
महिमा महान है,
कलयुग में पूजे आपको,
सारा जहान है,
सारा जहान है,
इक बार जिसने शीश जो,
इक बार जिसने शीश जो,
दर पे झुका दिया,
जिसने भी मेरे श्याम को,
मन से मना लिया।।



दुनिया में देव श्याम सा,

आता नहीं नजर,
आता नहीं नजर,
जिसने की दान में दिया,
पल भर में अपना सर,
पल भर में अपना सर,
कहता है जिसने ‘बावरा’,
कहता है जिसने ‘बावरा’,
गुणगान गा लिया,
जिसने भी मेरे श्याम को,
मन से मना लिया।।



बिगड़े हर एक काम को,

उसने बना लिया,
जिसने भी मेरे श्याम को,
मन से मना लिया।।


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Shekhar Mourya
Bhajan Lover / Singer / Writer / Web Designer & Blogger.

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