काहे काया का करता गुमान रे भजन लिरिक्स

काहे काया का करता गुमान रे,
सुबह शाम जपो राम जपो राम।।



हरि चरणों से प्रीत लगा के,

जीवन सफल बना अपना,
रहा हरि से सदा अनजान रे,
सुबह शाम जपो राम जपो राम।।



खेलों में सब उम्र गंवा दी,

राम भजन ना किया तूने,
किया माया का तूने अभिमान रे,
सुबह शाम जपो राम जपो राम।।



पूर्व जनम के पुण्य के कारण,

यह मानव तन पाया है,
काहे भुला है तू हरि नाम रे,
सुबह शाम जपो राम जपो राम।।



हरि भक्ति के अमृत की जो,

एक बूंद भी तू पीले,
पुरे होंगे तेरे अरमान रे,
सुबह शाम जपो राम जपो राम।।



काहे काया का करता गुमान रे,

सुबह शाम जपो राम जपो राम।।

गीतकार/गायक – राजेन्द्र प्रसाद सोनी।


Previous articleपिहरियो सो खाटू धाम ने छोड़ के घर जद जावा लिरिक्स
Next articleपूरा ध्यान लगा गुरुवर दौड़े दौड़े आएंगे लिरिक्स
Shekhar Mourya
Bhajan Lover / Singer / Writer / Web Designer & Blogger.

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here