हे संकट मोचन करते है वंदन भजन लिरिक्स

हे संकट मोचन करते है वंदन,
तुम्हरे बिना संकट कौन हरे,
सालासर वाले तुम हो रखवाले,
तुम्हरे बिना संकट कौन हरे।।

तर्ज – ओ पालनहारे।



सिवा तेरे ना दूजा हमारा,

तू ही आकर के देता सहारा,
जो भी विपदा आए,
पल में मिट जाए,
तुम्हरे बिना संकट कौन हरे।।



तूने रघुवर के दुखड़ो को टाला,

हर मुसीबत से उनको निकाला,
रघुवर के प्यारे,
आँखों के तारे,
तुम्हरे बिना संकट कौन हरे।।



अपने भगतो के दुखड़े मिटाते,

‘हर्ष’ आफत से हमको बचाते,
किरपा यूँ रखना,
थामे तू रखना,
तुम्हरे बिना संकट कौन हरे।।



हे संकट मोचन करते है वंदन,

तुम्हरे बिना संकट कौन हरे,
सालासर वाले तुम हो रखवाले,
तुम्हरे बिना संकट कौन हरे।।


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Shekhar Mourya
Bhajan Lover / Singer / Writer / Web Designer & Blogger.

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