गणपति राखो मेरी लाज पूरण कीजो मेरे काज भजन लिरिक्स

गणपति राखो मेरी लाज,
श्लोक
जय गणेश, गणनाथ दयानिधि, सकल विघन,

कर दूर हमारे, मम वंदन स्वीकार करो प्रभु जी,
चरण शरण हम , आये तुम्हारी,
जय गणेश, गणनाथ दयानिधि।

गणपति राखो मेरी लाज,
पूरण कीजो मेरे काज।।



सदा रहे खुशहाल गणपति लाल,

जो प्रथमे तुम्हे धियावे,
रिध्धि सिद्धि के दाता ओ भाग्यविधाता,
वो सबकुछ तुमसे पाये।
विनती सुणलो मेरी आज,
गणपती राखो मेरी लाज,
पूरण कीजो मेरे काज।।



कभी ना टूटे आस मेरा विश्वास,

मैं आया शरण तुम्हारी,
हे शम्भू के लाल प्रभु किरपाल,
हे तेरी महिमा न्यारी,
तेरे दया का मैं मोहताज,
गणपती राखो मेरी लाज,
पूरण कीजो मेरे काज।।



जिसके सर पे हाथ तेरा हो नाथ,

उसे फिर कैसा डर है,
जपे जो तेरा नाम सुबह और शाम,
तो उसका नाम अमर है,
सब देवो के तुम सरताज,
गणपती राखो मेरी लाज,
पूरण कीजो मेरे काज।।


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Shekhar Mourya
Bhajan Lover / Singer / Writer / Web Designer & Blogger.

3 COMMENTS

  1. पहले तो आप सभी को दिल की गहराई से धन्यवाद ?
    बहोत हो बढ़िया भजन है , उम्मीद करता हू के आगे भी इसी प्रकार भजन मिलते रहे । आप सभी को बहोत बहोत धन्यवाद ?

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